आजमगढ़ : कोरोना के बढ़ते प्रभाव के बीच अबकी प्रशासनिक सुस्ती भी सामने आने लगी है। जिलाधिकारी बैठकों में कंटेनमेंट जोन की व्यवस्था की जानकारी देने के साथ उसका अनुपालन कराने पर जोर दे रहे हैं तो वहीं मौके पर पूरी व्यवस्था ध्वस्त नजर आ रही है। बैरिकेडिग ध्वस्त है और लोग जरूरत के सामानों की खरीदारी के लिए मजबूरी में बाहर जा रहे हैं। यहां तक कि कंटेनमेंट जोन को सैनिटाइज तक नहीं किया जा रहा है। नगर पालिका प्रशासन दावा कर रहा है कि शहर के सभी 26 कंटेनमेंट जोन को दो बार सैनिटाइज किया जा रहा है लेकिन उसके दावे की कलई मौके पर खुलती नजर आ रही है। बैरिकेडिग की हालत यह कि वह ध्वस्त है और लोग अपनी जरूरत के सामान लेने के लिए एरिया से बाहर जा रहे हैं। उदाहरण के तौर पर ईदगाह के पास की एक गली को लिया जा सकता है। इस गली में रहने वालों को कोई सुविधा न मिलने से लोग परेशान हैं। गली से निकलते वक्त एक युवक को रोककर सवाल किया गया कि एरिया सील से बाहर क्यों जा रहे हो तो उसका सीधा जवाब था कि घर में दूध नहीं है, बाजार में लेने जा रहा हूं। इसी तरह से कोई दवा लेने के लिए निकल रहा था तो किसी के घर में सब्जी नहीं थी। पिछले वर्ष कंटेनमेंट जोन बनने के बाद वहां पुलिस की तैनाती कर दी जाती थी। आसपास के दो दुकानदारों को जरूरी खाद्य पदार्थ पहुंचाने के लिए अधिकृत किया जाता था। घर के पास सामान उपलब्ध होने के कारण लोग खुद भी घर से बाहर जाने की जरूरत महसूस नहीं करते थे लेकिन इस बार ऐसी कोई व्यवस्था न होने से प्रतिबंधित क्षेत्र के लोगों को बाहर निकलना पड़ रहा है। हालांकि, नगर पालिका के अधिशासी अधिकारी डॉ. शुभनाथ का कहना है कि शहर में मरीजों की संख्या 187 पहुंच गई है। कंटेनमेंट जोन में दिन में दो बार सैनिटाइजर का छिड़काव कराया जा रहा है। बाकी व्यवस्था तहसील प्रशासन के जिम्मे है।